मुंह में सफेद छाले होने का कारण: क्या आपने कभी अचानक अपने मुंह में सफेद छाले होने का कारण तलाशा है? यह समस्या इतनी आम है कि जीवन में कभी न कभी हर व्यक्ति इससे परेशान होता है। ये छाले, जिन्हें चिकित्सकीय भाषा में ‘अफ्थस अल्सर’ (Aphthous Ulcer) कहा जाता है, मुंह के अंदर गालों, जीभ, होंठों या मसूड़ों पर हो जाते हैं।

ये छोटे, सफेद या पीले रंग के होते हैं जिनके चारों ओर लालिमा होती है और जरा सा छूने या खाने-पीने में तेज दर्द होता है। अगर आप भी इस समस्या से बार-बार परेशान हैं, तो यह लेख आपके लिए है। आज हम मुंह में सफेद छाले होने का कारण से लेकर इसके सम्पूर्ण समाधान तक, हर पहलू पर वैज्ञानिक शोध और विशेषज्ञों की राय के आधार पर चर्चा करेंगे।
मुंह में सफेद छाले क्या हैं? (What are Mouth Ulcers?)
मुंह में सफेद छाले होने का कारण जानने से पहले यह समझना जरूरी है कि ये होते क्या हैं। ये छाले मुंह की श्लेष्मा झिल्ली (Mucous Membrane) में होने वाले छोटे, दर्दनाक घाव होते हैं। ये आमतौर पर संक्रामक नहीं होते, यानी एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में नहीं फैलते। इन्हें तीन श्रेणियों में बांटा जा सकता है:
माइनर अफ्थस अल्सर (Minor aphthous ulcers): ये सबसे आम प्रकार के छाले हैं, आकार में छोटे (2-8 mm) और आमतौर पर 1-2 सप्ताह में ठीक हो जाते हैं।
मेजर अफ्थस अल्सर (Major aphthous ulcers): ये गहरे और बड़े (1 cm से अधिक) होते हैं, इन्हें ठीक होने में कई सप्ताह या महीने लग सकते हैं और इलाज के बाद निशान छोड़ सकते हैं।
हेर्पेटिफॉर्म अल्सर (Herpetiform ulcer): ये बहुत छोटे (1-2 mm) लेकिन समूहों में दसियों की संख्या में होते हैं और ठीक होने में 1-2 सप्ताह लगते हैं।
मुंह में सफेद छाले होने का कारण (muh mein safed chhale hone ka karan aur gharelu upay)
मुंह में सफेद छाले होने का कारण कोई एक नहीं, बल्कि कई कारक हो सकते हैं। अक्सर यह शरीर के अंदर की किसी समस्या का संकेत होता है। आइए इन कारणों को विस्तार से समझते हैं।
पोषक तत्वों की कमी (Nutritional Deficiencies)
यह मुंह में सफेद छाले होने का कारण में सबसे प्रमुख है। शरीर में कुछ विशेष विटामिन और मिनरल की कमी होने पर छाले होने की संभावना बहुत बढ़ जाती है।
विटामिन B12: विटामिन B12 की कमी लाल रक्त कोशिकाओं के निर्माण और तंत्रिका तंत्र के सही कामकाज के लिए जिम्मेदार है। इसकी कमी से एनीमिया और बार-बार छाले हो सकते हैं। एक शोध के अनुसार, मुंह के छालों से पीड़ित 28% मरीजों में विटामिन B12 की कमी पाई गई।
रिसर्च लिंक: [NCBI – Recurrent Aphthous Stomatitis and Vitamin B12 Deficiency]
आयरन: आयरन की कमी भी एनीमिया का कारण बनती है और शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को कमजोर करती है, जिससे छाले हो सकते हैं।

फोलेट (विटामिन B9): फोलेट नई कोशिकाओं के निर्माण के लिए आवश्यक है। इसकी कमी से मुंह के अंदर की कोशिकाओं का नवीनीकरण ठीक से नहीं हो पाता, जिससे छाले बनने लगते हैं।
जिंक: जिंक एक महत्वपूर्ण मिनरल है जो घाव भरने और प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने में मदद करता है। इसकी कमी से छाले ठीक होने में अधिक समय लगता है।
शारीरिक या भावनात्मक तनाव (Physical or Emotional Stress)
तनाव शरीर पर कई तरह से नकारात्मक प्रभाव डालता है और मुंह में सफेद छाले होने का कारण बन सकता है। तनाव के दौरान शरीर में कॉर्टिसोल हार्मोन का स्तर बढ़ जाता है, जिससे शरीर की सूजन-रोधी प्रक्रिया प्रभावित होती है और प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर पड़ जाती है। इस कारण मुंह के अंदर के ऊतक अधिक संवेदनशील हो जाते हैं और छाले बनने लगते हैं। परीक्षा का तनाव, ऑफिस का प्रेशर या पारिवारिक चिंता जैसी स्थितियों में अक्सर लोगों को छाले हो जाते हैं। मानसिक तनाव कैसे दूर करें, इसके लिए आप हमारा यह लेख पढ़ सकते हैं: मानसिक तनाव कैसे दूर करें
हार्मोनल परिवर्तन (Hormonal Changes)
महिलाओं में मासिक धर्म, गर्भावस्था या रजोनिवृत्ति के दौरान होने वाले हार्मोनल उतार-चढ़ाव भी मुंह में सफेद छाले होने का कारण बन सकते हैं। एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरोन हार्मोन के स्तर में बदलाव से मुंह के ऊतकों में बदलाव आता है, जिससे छाले होने की संभावना बढ़ जाती है। कई महिलाओं को पीरियड्स शुरू होने से ठीक पहले छाले हो जाते हैं।
खाद्य पदार्थों से एलर्जी या संवेदनशीलता (Food Allergies or Sensitivities)
कुछ खाद्य पदार्थों के सेवन से कुछ लोगों को एलर्जिक रिएक्शन हो सकता है, जो मुंह में सफेद छाले होने का कारण बनता है। ऐसे खाद्य पदार्थों में शामिल हैं:
- खट्टे फल (जैसे संतरा, नींबू, अनानास)
- चॉकलेट
- स्ट्रॉबेरी
- अंडे
- कॉफी
- चीज
- मसालेदार या तीखा भोजन
- नट्स (मूंगफली, बादाम)
“इसके अलावा, सोडियम लॉरिल सल्फेट (Sodium Lauryl Sulfate) युक्त टूथपेस्ट भी कुछ लोगों में मुंह के छालों को ट्रिगर कर सकता है”।

दांतों या मुंह की चोट (Dental or Mouth Injury)
कई बार अनजाने में मुंह के अंदर की त्वचा को चोट लग जाती है, जो मुंह में सफेद छाले होने का कारण बन सकती है। यह चोट निम्नलिखित तरीकों से लग सकती है:
- जल्दबाजी में खाते समय गाल के अंदर का हिस्सा दांतों से कट जाना।
- बहुत गर्म चाय या भोजन से मुंह का जल जाना।
- नए ब्रेसिज़, नकली दांत (Dentures) या तेज किनारों वाले दांतों की रगड़।
- दांतों की सफाई करते समय बहुत जोर से ब्रश करना।
प्रतिरक्षा प्रणाली की समस्या (Immune System Issues)
जब शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होती है, तो शरीर छोटे-छोटे संक्रमणों से भी ठीक से लड़ नहीं पाता। ऐसे में मुंह के अंदर बैक्टीरिया या वायरस आसानी से छाले पैदा कर सकते हैं। यह मुंह में सफेद छाले होने का कारण उन लोगों में अधिक देखने को मिलता है जो किसी गंभीर बीमारी से उबर रहे होते हैं या जिनकी इम्युनिटी naturally कमजोर होती है।
पेट की गड़बड़ी और एसिडिटी (Stomach Problems and Acidity)
आयुर्वेद और आधुनिक चिकित्सा, दोनों ही इस बात से सहमत हैं कि पेट की खराबी और एसिडिटी का सीधा संबंध मुंह के छालों से है। ज्यादा तला-भुना, मसालेदार भोजन, अधिक चाय-कॉफी का सेवन या अनियमित खानपान से पेट में गर्मी और एसिडिटी बढ़ती है। यह गर्मी शरीर में ऊपर की ओर बढ़ती है और मुंह में छालों के रूप में प्रकट होती है। पेट की समस्याओं से जुड़ी अधिक जानकारी के लिए पढ़ें: [पाचन तंत्र मजबूत करना है तो ध्यान में रखो 5 बात]
कुछ विशेष बीमारियां (Certain Medical Conditions)
कुछ पुरानी और ऑटोइम्यून बीमारियों में मुंह में सफेद छाले होने का कारण एक सामान्य लक्षण के रूप में देखा जाता है। इन बीमारियों में शामिल हैं:
- सीलिएक डिजीज (Celiac Disease): यह ग्लूटेन से होने वाली एक गंभीर एलर्जी है।
- इन्फ्लेमेटरी बाउल डिजीज (IBD): जैसे क्रोहन रोग (Crohn’s Disease) और अल्सरेटिव कोलाइटिस।
- बेहसेट रोग (Behçet’s Disease): यह एक दुर्लभ बीमारी है जो पूरे शरीर में रक्त वाहिकाओं में सूजन पैदा करती है और मुंह के छाले इसका प्रमुख लक्षण हैं।
- HIV/AIDS: इस बीमारी में प्रतिरक्षा प्रणाली बहुत कमजोर हो जाती है, जिससे बार-बार और गंभीर छाले हो सकते हैं।
धूम्रपान छोड़ना (Quitting Smoking)
यह सुनने में अजीब लग सकता है, लेकिन जब कोई व्यक्ति धूम्रपान छोड़ता है, तो शुरुआती कुछ सप्ताह में उसे छाले हो सकते हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि धूम्रपान के दौरान मुंह के ऊतक एक तरह के ‘स्ट्रेस’ में रहते हैं और छोड़ने के बाद उनमें अचानक बदलाव आता है। यह एक अस्थायी प्रक्रिया है और समय के साथ ठीक हो जाती है। धूम्रपान के नुकसान जानने के लिए पढ़ें: [बीड़ी पीने से क्या होता है]
गुटखा और तंबाकू उत्पाद (Gutkha and Tobacco Products)
गुटखा, पान मसाला, तंबाकू आदि का सेवन मुंह के ऊतकों के लिए अत्यंत हानिकारक है। इनमें मौजूद रसायन और मसाले मुंह की अंदरूनी परत को नुकसान पहुंचाते हैं, जिससे लगातार छाले बने रहते हैं और कैंसर जैसी गंभीर बीमारी का खतरा भी बढ़ जाता है। गुटखे से होने वाले छालों के बारे में विस्तार से जानने के लिए पढ़ें: [गुटखा खाने से मुंह में छाले का इलाज]
मुंह में सफेद छाले होने का कारण – मुख्य बिंदु
- पोषक तत्वों की कमी, विशेषकर विटामिन B12, आयरन और जिंक की कमी प्रमुख कारण है।
- तनाव और हार्मोनल बदलाव भी छालों को ट्रिगर करते हैं।
- खट्टे फल, मसालेदार भोजन और एलर्जी वाले पदार्थों से बचें।
- मुंह की चोट और कुछ पुरानी बीमारियां भी जिम्मेदार हो सकती हैं।
- गुटखा और तंबाकू का सेवन सबसे बड़े जोखिम कारकों में से एक है।
मुंह में सफेद छालों को रोकने के लिए क्या खायें; (Essential Nutrients for Mouth Ulcers)
अगर आप बार-बार होने वाले छालों से परेशान हैं, तो अपनी डाइट में इन पोषक तत्वों को शामिल करना आपके लिए फायदेमंद रहेगा। यह न केवल छालों को ठीक करने में मदद करेगा बल्कि भविष्य में इनके होने की संभावना को भी कम करेगा।
मुंह में सफेद छालों को रोकने के लिए पोषक तत्वों का चार्ट (Nutritional Chart in Hindi)
| पोषक तत्व (Nutrient) | क्यों जरूरी है? (Why it’s Important?) | खाद्य स्रोत (Food Sources) |
|---|---|---|
| विटामिन B12 | लाल रक्त कोशिकाओं के निर्माण और तंत्रिका तंत्र के लिए आवश्यक। इसकी कमी से मुंह में छाले हो सकते हैं। | अंडे, दूध, दही, पनीर, चिकन, मछली, फोर्टिफाइड अनाज। (शाकाहारियों के लिए सप्लीमेंट बेहतर विकल्प है) |
| आयरन (Iron) | शरीर में ऑक्सीजन के परिवहन और प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करने के लिए जरूरी। | हरी पत्तेदार सब्जियां (पालक), बीन्स, दालें, टोफू, कद्दू के बीज, लाल मांस। |
| फोलेट (विटामिन B9) | नई कोशिकाओं के निर्माण और डीएनए संश्लेषण में मदद करता है। | हरी पत्तेदार सब्जियां, ब्रोकली, दालें, एवोकाडो, खट्टे फल, फोर्टिफाइड अनाज। |
| जिंक (Zinc) | घाव भरने की गति बढ़ाता है और प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करता है। | कद्दू के बीज, तिल, काजू, चिकन, दही, छोले। |
| विटामिन C | कोलेजन उत्पादन में मदद करता है (जो ऊतकों की मरम्मत के लिए जरूरी है) और प्रतिरक्षा बढ़ाता है। | आंवला, संतरा, नींबू, कीवी, बेल पेपर, ब्रोकली। (कुछ लोगों में खट्टे फल छाले बढ़ा सकते हैं) |
| लाइसिन (Lysine) | वायरस से लड़ने और कोशिकाओं की मरम्मत में मदद करने वाला आवश्यक अमीनो एसिड। | दालें, बीन्स, पनीर, अंडे, चिकन, मछली। |
शरीर को ताकतवर बनाने वाले आहार के बारे में जानने के लिए पढ़ें: शरीर में ताकत बढ़ाने के लिए क्या खाना चाहिए
मुंह के छालों के लिए रामबाण घरेलू उपाय (Home Remedies for Mouth Ulcers)
अधिकतर मामलों में, मुंह के छाले 1-2 सप्ताह में अपने आप ठीक हो जाते हैं। लेकिन निम्नलिखित घरेलू उपाय अपनाकर आप दर्द से तुरंत राहत पा सकते हैं और ठीक होने की प्रक्रिया को तेज कर सकते हैं।

नमक के पानी से कुल्ला (Salt Water Gargle)
यह सबसे आसान और प्रभावी उपाय है। नमक एक प्राकृतिक एंटीसेप्टिक है जो मुंह के बैक्टीरिया को कम करके सूजन और दर्द घटाता है।
कैसे करें: एक गिलास गुनगुने पानी में आधा चम्मच नमक मिलाएं। इस घोल से दिन में 2-3 बार अच्छी तरह कुल्ला करें।
बेकिंग सोडा (Baking Soda)
बेकिंग सोडा मुंह के pH स्तर को संतुलित करके सूजन कम करता है।
कैसे करें: थोड़े से बेकिंग सोडा में पानी मिलाकर एक पेस्ट बना लें। इस पेस्ट को सीधे छाले पर लगाएं और 1-2 मिनट बाद साफ पानी से कुल्ला कर लें। आप बेकिंग सोडा को पानी में घोलकर कुल्ला भी कर सकते हैं।
नारियल का तेल (Coconut Oil)
नारियल के तेल में एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटीमाइक्रोबियल गुण होते हैं। यह छाले पर एक प्रोटेक्टिव लेयर बनाकर दर्द कम करता है और उसे ठीक होने में मदद करता है।
कैसे करें: एक रूई की मदद से सीधे छाले पर नारियल का तेल लगाएं। इसे दिन में कई बार लगाया जा सकता है।
शहद (Honey)
शहद अपने प्राकृतिक एंटीबैक्टीरियल और घाव भरने वाले गुणों के लिए जाना जाता है। एक शोध में पाया गया कि शहद को छाले पर लगाने से दर्द और आकार दोनों में कमी आती है।
रिसर्च लिंक: [NCBI – Honey in the management of side effects of chemo-radiotherapy in head and neck cancer] (यह रिसर्च कैंसर के मरीजों पर है, लेकिन शहद के घाव भरने के गुणों को दर्शाती है)
कैसे करें: ऑर्गेनिक या कच्चा शहद लें और इसे सीधे छाले पर लगाएं। 5-10 मिनट के लिए छोड़ दें, फिर पानी पी लें।
तुलसी के पत्ते (Basil Leaves)
तुलसी में एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटीवायरल गुण होते हैं। तुलसी के पत्तों को चबाने से मुंह के संक्रमण दूर होते हैं और छालों में आराम मिलता है।
कैसे करें: 2-3 तुलसी के पत्तों को अच्छी तरह धोकर चबाएं और फिर गर्म पानी पी लें। इसे रोज सुबह कर सकते हैं।
एलोवेरा जेल (Aloe Vera Gel)
एलोवेरा जेल ठंडक पहुंचाता है और अपने सूजन-रोधी गुणों के कारण दर्द व जलन को शांत करता है।
कैसे करें: ताजे एलोवेरा के पत्ते से जेल निकालकर सीधे छाले पर लगाएं। दिन में 2-3 बार इस्तेमाल करें।
आइस पैक (Ice Pack)
बर्फ सुन्न करने का काम करती है और अस्थायी रूप से दर्द से राहत दिलाती है।
कैसे करें: एक बर्फ के टुकड़े को सीधे छाले पर रखें या उसे चूसते रहें। ऐसा करने से रक्त वाहिकाएं सिकुड़ जाती हैं, जिससे सूजन और दर्द कम होता है।
हल्दी का उपयोग (Use of Turmeric)
हल्दी एक शक्तिशाली एंटीसेप्टिक और सूजन-रोधी मसाला है।
कैसे करें: थोड़ी सी हल्दी में पानी मिलाकर गाढ़ा पेस्ट बना लें। इसे छाले पर लगाएं और 5 मिनट बाद गुनगुने पानी से कुल्ला कर लें।

मुंह में सफेद छाले होने पर डॉक्टर से कब संपर्क करें? (When to See a Doctor?)
अधिकतर छाले घरेलू उपचार से ठीक हो जाते हैं, लेकिन निम्नलिखित स्थितियों में तुरंत डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए:
- अगर छाला 3 सप्ताह से अधिक समय तक ठीक न हो।
- छाला असामान्य रूप से बड़ा हो गया हो।
- छाले बार-बार और बड़ी संख्या में हो रहे हों।
- छालों के साथ बुखार, दस्त या शरीर पर चकत्ते भी हों।
- निगलने या सांस लेने में तकलीफ हो रही हो।
- दर्द इतना अधिक हो कि कुछ खाना-पीना मुश्किल हो रहा हो।
मुंह में सफेद छाले होने का कारण: 10 अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)
क्या मुंह के छाले संक्रामक होते हैं?
नहीं, आम अफ्थस अल्सर (सफेद छाले) एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में नहीं फैलते। हालांकि, कोल्ड सोर (Herpes Simplex Virus) जो होंठों पर होते हैं, संक्रामक हो सकते हैं।
क्या तनाव से मुंह में छाले होते हैं?
हां, शारीरिक और मानसिक तनाव मुंह में सफेद छाले होने का कारण बन सकता है। तनाव प्रतिरक्षा प्रणाली को कमजोर करता है, जिससे छाले होने की संभावना बढ़ जाती है।
छाले ठीक होने में कितना समय लेते हैं?
अधिकांश छाले (माइनर अफ्थस अल्सर) 1 से 2 सप्ताह के भीतर अपने आप ठीक हो जाते हैं। गंभीर छालों को ठीक होने में अधिक समय लग सकता है।
क्या विटामिन B12 की कमी से छाले होते हैं?
हां, विटामिन B12 की कमी मुंह में सफेद छाले होने का कारण में एक प्रमुख कारक है। इसकी कमी से बार-बार छाले हो सकते हैं।
छालों को फोड़ना चाहिए या नहीं?
बिल्कुल नहीं। छालों को फोड़ने से संक्रमण फैलने का खतरा रहता है, दर्द बढ़ सकता है और ठीक होने में अधिक समय लग सकता है।
मुंह के छालों से तुरंत राहत पाने का उपाय क्या है?
नमक के पानी से कुल्ला करना, बर्फ लगाना या डॉक्टर द्वारा सुझाई गई कोई एनेस्थेटिक जेल (जैसे लिग्नोकेन जेल) लगाने से तुरंत आराम मिल सकता है।
क्या पेट की गर्मी से छाले होते हैं?
हां, आयुर्वेद और आधुनिक विज्ञान दोनों के अनुसार, पेट में एसिडिटी और गर्मी बढ़ने से मुंह में छाले हो सकते हैं। हल्का और सादा भोजन करने से लाभ मिलता है।
बच्चों को बार-बार छाले क्यों होते हैं?
बच्चों में अक्सर पोषक तत्वों की कमी, मुंह की सफाई का ध्यान न रखना, या अनजाने में मुंह के अंदर चोट लगने के कारण छाले हो जाते हैं।
क्या डेंगू बुखार में छाले होते हैं?
हां, डेंगू बुखार जैसी वायरल बीमारियों के दौरान शरीर की प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो जाती है, जिससे मुंह में छाले हो सकते हैं। डेंगू के बारे में अधिक जानें: [डेंगू कैसे होता है?]
मुंह के छालों को जड़ से खत्म करने का उपाय क्या है?
मुंह के छालों को जड़ से खत्म करने के लिए जरूरी है कि उनके मूल कारण का पता लगाया जाए। अगर कारण पोषक तत्वों की कमी है तो डाइट सुधारें, अगर तनाव है तो उसे मैनेज करें और मुंह की स्वच्छता का पूरा ध्यान रखें। लगातार होने वाले छालों के लिए डॉक्टर से जांच करवाएं। तभी मुंह में सफेद छाले होने का कारण पता चलेगा।
मुंह में सफेद छाले होने का कारण – निष्कर्ष (Conclusion)
मुंह में सफेद छाले होने का कारण आमतौर पर कोई गंभीर समस्या नहीं होती, लेकिन यह आपके शरीर के अंदर चल रही किसी कमी या समस्या का संकेत जरूर है। चाहे वह पोषण की कमी हो, तनाव हो या पेट की गड़बड़ी, इन कारणों को पहचानकर और सही दिशा में कदम उठाकर आप न केवल इन दर्दनाक छालों से छुटकारा पा सकते हैं बल्कि भविष्य में इनके होने की संभावना को भी काफी हद तक कम कर सकते हैं।
संतुलित आहार, पर्याप्त नींद, तनाव प्रबंधन और अच्छी मौखिक स्वच्छता ही इस समस्या का स्थायी समाधान है। अगर समस्या लगातार बनी रहती है, तो किसी अच्छे चिकित्सक या [MedicoSutra Experts] से सलाह लेना हमेशा बेहतर होता है।





